हर जलसे मे हलाक होते थे वन्यप्राणी
जिले के जंगलों मे चल रहे आखेट का पर्दाफाश, वन विभाग ने हथियारों सहित पकडे तीन आरोपी
बांधवभूमि न्यूज
मध्यप्रदेश
उमरिया
वन विभाग ने जिले के घुनघुटी तथा आसपास के जंगलों मे लंबे समय से चल रहे आखेट का पर्दाफाश करते हुए तीन शिकारियों को हथियार, कारतूस और जानवरों के अंगों सहित धर दबोचा है। इस मामले मे दो आरोपी अभी भी फरार हैं। जिनकी तलाश की जा रही है। वनमण्डलाधिकारी दक्षिण शहडोल सुश्री श्रद्धा पन्द्रे ने बताया है कि गत 29 मई 2024 को वन्य जीव अपराध नियंत्रण ब्यूरो नई दिल्ली से सूचना प्राप्त हुई कि शहडोल निवासी करूणेन्द्र सिंह पिता दादूलाल सिंह के निवास पर वन्यप्राणियों के अवयव उपलब्ध है। जिस पर उप वनमण्डलाधिकारी बादशाह रावत द्वारा सर्च वारंट जारी कर अपनी टीम के सांथ आरोपी के घर पर दबिश दी गई। इस दौरान वन विभाग की टीम को जो मिला, उससे सब की आखें फटी की फटी रह गई। आरोपी के कब्जे से 12 बोर बंदूक के 21 खाली व 3 नग जिंदा कारतूस, 1 काला रेकजीन बेल्ट कारतूस रखने वाला, 1 भालू का नाखून, 2 जंगली सुअर के दांत, 315 बोर बंदूक के 2 जिंदा कारतूस सहित अन्य हथियार व जानवरों के अंग बरामद किये।
कबूल की करतूत
इस मामले मे करूणेन्द्र सिंह पिता दादूलाल सिंह के अलावा अभयराज सिंह पिता भदू सिंह ग्राम आमगार तहसील पाली तथा जयंत सिंह उर्फ मिंटू सिंह 50 निवासी रौगढ़ ब्लाक पाली जिला उमरिया को भी हिरासत मे लिया गया है। सूत्रों के मुताबिक आरोपियों से पूछताछ मे बताया है कि वे जंगली जानवरों के शौकीन हैं। होली, दीवाली जैसे त्यौहारों तथा गांव-घर मे होने वाले जलसों मे वे अक्सर हिरण-चीतल आदि का शिकार कर उनका सेवन करते रहते हैं।
जेल भेजे गये तीन आरोपी
डीएफओ सुश्री श्रद्धा पन्द्रे ने बताया कि करूणेन्द्र सिंह एवं अभयराज सिंह को गत 1 जून तथा जयंत सिंह उर्फ मिंटू सिंह को 2 जून को गिरफ्तार कर न्यायालय के आदेश पर जेल भेजा गया है। शेष आरोपियों की तलाश की जा रही है। प्रकरण की विवेचना एवं अन्य कार्यवाही वन परिक्षेत्राधिकारी शहडोल रामनरेश विश्वकर्मा एवं उनकी टीम द्वारा की जा रही है। मुख्य वन संरक्षक वन वृत्त शहडोल एलएल उइके के निर्देशानुसार, वनमण्डलाधिकारी दक्षिण शहडोल सुश्री श्रद्धा पन्द्रे एवं बादशाह रावत उप वनमण्डलाधिकारी सोहागपुर के मार्गदर्शन मे हुई इस कार्यवाही मे रामनरेश विश्वकर्मा वन परिक्षेत्राधिकारी शहडोल, सलीम खान वन परिक्षेत्राधिकारी बुढ़ार, हेमन्त कुमार प्रजापति वनक्षेत्रापाल, राहुल सिकरवार वनक्षेत्रपाल, वन परिक्षेत्राधिकारी जैतपुर, भाग्यशाली सिंह वनक्षेत्रपाल वन परिक्षेत्राधिकारी खन्नौधी, श्रीप्रकाश शुक्ला उप वनक्षेत्रपाल परिक्षेत्र सहायक बडखेरा, हरेन्द्र श्रीवास्तव वनपाल, परिक्षेत्र सहायक शहडोल, राकेश द्विवेदी कार्यवाहक वनपाल, राहुल शर्मा वनरक्षक, संदीप सिंह चौहान वनरक्षक, हरेन्द्र रैदास वनरक्षक, शबाब उल्ला खान कार्यवाहक वनपाल, कमला प्रसाद वर्मा वनपाल परिक्षेत्र सहायक बुढ़ार, जेपी मौर्य कार्यवाहक वनपाल परिक्षेत्र सहायक पटना, विजय प्रजापति कार्यवाहक वनपाल, मथुरा सिंह मार्को कार्यवाहक वनपाल, शिव प्रसाद मारकार वनरक्षक, मयंक अग्निहोत्री वनरक्षक, राजेन्द्र तिवारी वनरक्षक, अश्वनी पाण्डेय वनरक्षक, नागेन्द्र मिश्रा वनरक्षक, लल्लू सिंह वनरक्षक, राजेश शर्मा वनरक्षक, श्रीमती विजयश्री परस्ते कार्यवाहक वनपाल, श्रीमती सरस्वती बैगा वनरक्षक एवं अन्य वन परिक्षेत्रों के स्टाफ की महत्वपूर्ण एवं सराहनीय भूमिका थी।