सिर्फ आशंका पर सारनाथ एक्सप्रेस को 75 दिन तक निरस्त करने का फैंसला
बांधवभूमि, उमरिया
बिलासपुर-कटनी होकर गुजरने वाली संभाग की अत्यंत महत्वूपर्ण दुर्ग-छपरा-दुर्ग सारनाथ एक्सप्रेस आने वाले तीन महीनो के दौरान 75 दिन निरस्त रहेगी। निर्णय के पीछे रेलवे ने कोहरे को कारण बताया है। इतना ही नहीं बकायदा ट्रेन को रद्द करने की तारीखें भी जारी कर दी गई हैं। इसका मतलब यही है कि रेल प्रशासन को मौसम के सांथ ही कोहरे का प्रकोप किस-किस दिन रहेगा, इसकी भी सटीक जानकारी अभी से मिल गई है। जानकार भी रेलवे के मौसम विज्ञान से हतप्रभ हैं, उनका कहना है कि ठण्ड के दौरान उत्तर भारत मे कोहरे का प्रकोप कोई नई बात नहीं है। साल-दो साल पहले तक मौसम के कारण गाडिय़ां भले ही लेट होती हों, परंतु उन्हे इस तरह रद्द नहीं किया जाता था। वैसे भी कोहरे की समस्या दिसंबर से लेकर अधिकतम जनवरी के बीच ज्यादा रहती है। रेलवे ने फरवरी तक कई ट्रेनो को रद्द करके जतला दिया है कि वह लोगों को परेशान करने का कोई भी मौका हांथ से नहीं जाने देगी।
साल भर चलता है सिलसिला
गौरतलब है कि बीते मांह ही भोपाल मण्डल अंतर्गत मालखेड़ी के पास होने वाले कार्य के नाम पर बीना के रास्ते क्षेत्र मे चलने वाली यात्री ट्रेनो को रद्द किया गया था, वहीं कई को परिवर्तित मार्ग से चलाया गया था। इस तरह का सिलसिला लंबे समय से जारी है। कभी इंटरलॉकिंग, सिग्नल, तिहरी लाईन तो कभी अन्य कारणो से साल मे दर्जनो बार ट्रेनो को निरस्त किया जा रहा है। कई बार तो मनमानी भरे निर्णयों की सूचना अचानक आती है, जिससे रिजर्वेशन करा कर यात्रा करने वाले लोगों को भारी फजीहत का सामना करना पड़ता है।
बारातों के लिये कराये थे रिजर्वेशन
बताया गया है कि सारनाथ एक्सप्रेस इस मार्ग की अत्यंत महत्वूपर्ण ट्रेन है, जो मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ के कई जिलों को उत्तरप्रदेश तथा बिहार से जोड़ती है। उमरिया, शहडोल और अनूपपुर जिले के सैकड़ों यात्री रोजाना सारनाथ द्वारा आवागमन करते हैं। वहीं आने वाले दिसंबर, जनवरी और फरवरी मे विवाहों के भी मुहूर्त भी हैं। कई लोगों ने बताया कि उन्होने बारात के लिये 4 महीने पूर्व ट्रेन मे रिजर्वेशन कराये हैं। रेलवे के इस फरमान ने इन सभी को मुसीबत मे डाल दिया है।
तो लाद दिये जाते हैं मुकदमे
रेलवे की कमाई मे अहम योगदान देने के वाले शहडोल संभाग के सांथ लगातार अन्याय और शोषण हो रहा है। सूत्रों का दावा है कि यह सारा कृत्य उद्योगपतियों का कोयला निकालने के लिये किया जा रहा है। ट्रेनो को रद्द करने के अलावा कोरोना के पहले जिला मुख्यालय सहित उमरिया जिले की अन्य स्टेशनो पर वर्षो से रूक रही ट्रेनो के स्टापेज छीन लिये गये हैं। यदि कोई इसका विरोध करता है, तो उनके खिलाफ केस दर्ज कर दिये जाते हैं। इतनी उपेक्षा और अपमान के बावजूद क्षेत्र के नुमाईन्दों का मौन दुखद और निराशाजनक है।
इन तिथियों पर रद्द रहेगी ट्रेन
छपरा से दुर्ग जाने वाली 15159 सारनाथ एक्सप्रेस दिसंबर मे 3, 5, 7, 10, 12, 14, 17, 19, 21, 24, 26, 28 व 31, जनवरी मे 2, 4, 7, 9, 11, 14, 15, 18, 21, 23, 25, 28 व 30 जबकि फरवरी मे इस ट्रेन को 1, 4, 6, 8, 11, 13, 15, 18, 20, 22, 25 व 27 का रद्द किया गया है। इसी तरह 15160 दुर्ग-छपरा एक्सप्रेस दिसंबर मे 4, 6, 8, 11, 13, 15, 18, 20, 22, 25, 27 व 29, जनवरी मे 1, 3, 5, 8, 10, 12, 15, 17, 19, 22, 24, 26, 29 व 31 और फरवरी मे 2, 5, 7, 9, 12, 14, 16, 19, 21, 23ए 26 व 28 को नहीं चलेगी।
रेलवे को पता है, कब-कब रहेगा कोहरा
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