प्रमोशन के बाद भी रह गये प्रभारी

राजस्व अधिकारियों को रास नहीं आ रही शासन की नीति
बांधवभूमि, उमरिया
शासन द्वारा प्रमोशन देकर उच्च पदों पर आसीन करने के बावजूद राजस्व अधिकारियों मे निराशा का माहौल है। उनका मानना है कि इस निर्णय से अधिकारियों को किसी तरह का लाभ और सम्मान नहीं मिला है। यह एक प्रकार का झुनझुना है, जिसका कोई फायदा नहीं है। जिले मे इस प्रक्रिया के तहत पदस्थ राजस्व अधिकारियों ने बांधवभूमि से चर्चा करते हुए बताया कि सरकार द्वारा प्रमोशन के लिये डीपीसी सहित पूरी कवायद की गई परंतु पद के आगे प्रभारी लगा कर सारे किये कराये पर पानी फेर दिया है। इसे लेकर कई अधिकारी उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाने की तैयारियां भी कर रहे हैं। चुनावी वर्ष मे सरकार के इस निर्णय से राजस्व विभाग मे व्याप्त निराशा आने वाले दिनो मे उसी के लिये परेशानी का सबब बन सकती है।
नहीं मिलेगा बढ़ा हुआ वेतनमान
गौरतलब है कि शासन द्वारा हाल ही मे बड़े पैमाने पर डीपीसी कर अधिकारियों के प्रमोशन किये गये हैं। जिसके तहत प्रदेश भर के तहसीलदारों को डिप्टी कलेक्टर, नायब तहसीलदार को तहसीलदार, एएसएलआर को प्रभारी एसएलआर, आरआई को नायब तहसीलदार तथा एएसएलआर बनाया गया है। इतना ही नहीं प्रमोशन के बाद अधिकारियों की पदस्थापना भी कर दी गई, परंतु इन्हे प्रभारी बना कर रख दिया गया। बताया गया है वरिष्ठ पदों पर आसीन होने के बावजूद अधिकारियों को वेतन पुराने पद का ही दिया जा रहा है।
फिर क्यों की गई कसरत
जिले के राजस्व अधिकारी सरकार के इस निर्णय से काफी खफा हैं। उनका कहना है कि अधिकारी के उपलब्ध न होने से वैसे ही प्रभार दिया जाता है। जब प्रभारी ही बनाना था तो डीपीसी ही क्यों की गई। उनकी मांग है कि सरकार सभी पदोन्नत किये गये अधिकारियों के पद के आगे लगा प्रभारी शब्द तत्काल हटाये। सांथ वरिष्ठ पद के अनुसार वेतनमान भी लागू करे।
जिले मे आये 14 अधिकारी
हलांकि सरकार की इस प्रक्रिया से जिले को फायदा हुआ है। प्रमोशन के बाद हुई नई पदस्थापना के तहत जिले मे कुल 14 नये अधिकारी स्थानांतरित हो कर आये हैं। इनमे प्रभारी डिप्टी कलेक्टर 2, प्रभारी तहसीलदार 2, प्रभारी एसएलआर 2, प्रभारी नायब तहसीलदार 7 तथा एक प्रभारी एसएलआर शामिल है। इससे पहले तक जिले मे राजस्व अधिकारियों की भारी कमी के कारण प्रशासनिक कामकाज बुरी तरह प्रभावित हो रहा था। इतना ही नहीं तीन अनुभाग वाले इस जिले मे महज दो एसडीएम उपलब्ध थे। जिसकी वजह से बांधवगढ़ एसडीएम को पाली का भी प्रभार सौंपा गया था। नये अधिकारियों के आने से व्यवस्था और सुचारू हो सकेगी।

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