जरा सी लापरवाही से खाली हो सकता है आपका खाता
मोबाईल नंबर को अपडेट करने या केवायसी के नाम पर हो रही धोखाधड़ी
बांधवभूमि न्यूज
मध्यप्रदेश
उमरिया
इंटरनेट और सोशल मीडिया से आम जनजीवन भले ही आसान और आधुनिक हुआ हो परंतु इससे फर्जीवाड़ा भी उतनी तेजी से बढ़ा है। पढ़े लिखे और साफ्टवेयर के जानकार ठगों ने तो इसे लूट का जरिया ही बना लिया है। जो आये दिन नये-नये तौर तरीकों से लोगों के सांथ धोखाधड़ी कर रहे हैं। हाल ही मे बदमाशों ने ई सिम का दुरूपयोग कर लूट की कई वारदातों को अंजाम दिया है। जानकारी के मुताबिक सायबर अपराधी बैंकों मे रजिस्टर्ड नंबर बाली सिम को ई सिम मे बदल कर खातों से पैसे साफ करने जैसी घटनायें कारित कर रहे हैं। उन्होने ऐसी तकनीक विकसित की है जिससे धारक के नंबर से आने वाला कॉल रिसीव करने के अलावा ओटीपी भी प्राप्त की जा सकती है। एक बार ओटीपी मिलते ही बैंक खाते मे रखे सारे पैसे निकाल लिये जाते हैं। यदि नंबर आधार से लिंक है तो सायबर अपराधी आधार भी लॉक करा देते हैं। इसके लिये विशेष सतर्कता की जरूरत है।
इस तरह होता है फ्राड
फ्राड के लिये सबसे सायबर अपराधी बैंक मे रजिस्टर्ड मोबाईल नंबर पर कंपनी जैसे दिखने वाले या अन्य नंबरों से कॉल कर नागरिकों से उनके नंबर को अपडेट करने या केवायसी के नाम पर ओटीपी मांगते हैं। वे इसके लिये एपीके फाईल भी भेज सकते है। ओटीपी बताने या एपीके फाइल डाउनलोड करते ही बदमाश उस नंबर को ई सिम मे बदलवा लेते हैं। उनके द्वारा कहा जाता है कि आपकी सिम 24 से 48 घंटे मे पुन: चालू हो जायेगी। जब तक लोग कुछ समझें उनकी सिम द्वारा बैंक से मिली ओटीपी के जरिये खाते से पूरे पैसे गायब हो चुके होते हैं। इतना ही नही नंबर आधार से लिंक होने पर सायबर अपराधियों द्वारा ओटीपी लेकर आधार भी लॉक करा दिया जाता है, ताकि व्यक्ति को दूसरी सिम आसानी से न मिल सके।
भूल कर भी न करें ऐसी गल्ती
बताया गया है कि सायबर ठगों द्वारा अब सरकारी योजनाओं से लेकर शादी के आमत्रंण, कैशबैक, बिजली बिल, बैंकिग सुविधाओं तथा अस्पतालों मे अपाइमेंट तक के नाम पर एपीके फाईल वाट्सेप पर भेजी जा रही है। सायबर सेल ने नागरिकों को आगाह किया है कि ऐसी एपीके फाईल को भूल कर भी ओपन न करें। अन्यथा आपका पूरा खाता खाली हो सकता है।
बदमाशों के झांसे मे न आयें
सिम अपडेट या केवायसी कराने के झांसें मे न आयें। ऐसे किसी भी कॉल या मैसेज को तत्काल नकार दें, क्योंकि यहीं से फ्राड करने का रास्ता खुलता है। सायबर फ्राड द्वारा भेजी गई एपीके फाईल को डाऊनलोड न करें। आपके बैंक या आधार से लिंक नंबर पर आई कॉल संदिग्ध लगने पर बात न करते हुये उसे तुंरत ब्लाक करें। यदि सिम इस तरीके से बंद जाय तो तत्काल बैंक मे इसकी सूचना देकर खाते को होल्ड करायें। धोखाधड़ी का शिकार होने पर बैंक से खाता स्टेटमेट प्राप्त कर तुंरत 1930 पर तथा नजदीकी थाने मे शिकायत दर्ज करायें।
श्रीमती निवेदिता नायडू
पुलिस अधीक्षक, उमरिया