घर मे मिले नोटों के बंडल, ईओडब्यलू ने तखत पर बिछाकर गिने 30 लाख, 7 करोड़ की संपत्ति का खुलासा
सतना। सतना में प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के साइंटिस्ट के घर नोटों के बंडल मिले है। EOW की छापेमारी में करीब 30 लाख रुपए की नकदी बरामद की गई है। इतने रुपए मिले की EOW कि टीम को नोटों के इन बंडलों को तखत पर बिछाकर गिनना पड़ा। EOW ने प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के सतना क्षेत्रीय कार्यालय में पदस्थ साइंटिस्ट सुशील कुमार मिश्रा के मारुति नगर स्थित घर पर रविवार को छापा मारा। शुरुआती जांच में ही 7 करोड़ रुपए की अनुपातहीन संपत्ति का खुलासा हुआ है। मिश्रा की बहू पटवारी है। लिहाजा उन तक भी जांच की आंच पहुंचने की संभावना है।
अबतक 7 करोड़ की संपत्ति का खुलासा
सतना के मारुति नगर स्थित घर में हुई कार्रवाई में अब तक 7 करोड़ रुपए के आसपास की अनुपातहीन संपत्ति का खुलासा हुआ है। इसके अलावा भोपाल में अचल संपत्ति होने के दस्तावेज भी जांच टीम के हाथ लगे हैं। सतना में स्मार्ट सिटी से लगे बेलहटा गांव में 7 एकड़ का फार्म हाउस, बदखर, घूरडांग, अमौधा आदि शहर से लगे क्षेत्रों में लगभग 15 जमीन व मकान के दस्तावेज मिले हैं।
सतना के मारुति नगर स्थित घर में हुई कार्रवाई में अब तक 7 करोड़ रुपए के आसपास की अनुपातहीन संपत्ति का खुलासा हुआ है। इसके अलावा भोपाल में अचल संपत्ति होने के दस्तावेज भी जांच टीम के हाथ लगे हैं। सतना में स्मार्ट सिटी से लगे बेलहटा गांव में 7 एकड़ का फार्म हाउस, बदखर, घूरडांग, अमौधा आदि शहर से लगे क्षेत्रों में लगभग 15 जमीन व मकान के दस्तावेज मिले हैं।
XUV सहित सात वाहन मिले
जूनियर साइंटिस्ट के घर में 7 वाहन मिले हैं। जिनमें 1 XUV,1 स्कॉर्पियो, 1 कार, 1 ट्रैक्टर तथा 3 दोपहिया वाहन हैं। छापामारी में 30 लाख रुपए नकद, 10 लाख रुपए से अधिक के जेवर, कई बैंक खाते और लॉकर, बीमा पॉलिसियां भी मिली हैं।
जूनियर साइंटिस्ट के घर में 7 वाहन मिले हैं। जिनमें 1 XUV,1 स्कॉर्पियो, 1 कार, 1 ट्रैक्टर तथा 3 दोपहिया वाहन हैं। छापामारी में 30 लाख रुपए नकद, 10 लाख रुपए से अधिक के जेवर, कई बैंक खाते और लॉकर, बीमा पॉलिसियां भी मिली हैं।
कुल कमाई से कई गुना ज्यादा पैसा मिला
EOW (आर्थिक अपराध अन्वेषण ब्यूरो), रीवा के एसपी वीरेंद्र जैन ने बताया कि सुशील कुमार मिश्रा वर्ष 1990 के शासकीय सेवा में आया था। उसका वर्तमान वेतन लगभग 70 हजार रुपए महीना है। ज्ञात स्रोतों से इसकी आय अब तक लगभग 50 लाख रुपए होती है, जबकि इसके पास करोड़ों की संपत्ति मिली है। करीब 10 लाख रुपए मूल्य के जेवर के अलावा लगभग 30 लाख रुपए की नकदी मिली है। जिसे गिनने के लिए EOW की टीम को घंटों लग गए। घर में चल-अचल संपत्ति और तमाम दस्तावेजों को खंगालने के बाद जांच टीम ने साइंटिस्ट के फार्म हाउस को भी जांच के दायरे में लिया है। एक टीम फार्म हाउस भी भेजी गई है।
EOW (आर्थिक अपराध अन्वेषण ब्यूरो), रीवा के एसपी वीरेंद्र जैन ने बताया कि सुशील कुमार मिश्रा वर्ष 1990 के शासकीय सेवा में आया था। उसका वर्तमान वेतन लगभग 70 हजार रुपए महीना है। ज्ञात स्रोतों से इसकी आय अब तक लगभग 50 लाख रुपए होती है, जबकि इसके पास करोड़ों की संपत्ति मिली है। करीब 10 लाख रुपए मूल्य के जेवर के अलावा लगभग 30 लाख रुपए की नकदी मिली है। जिसे गिनने के लिए EOW की टीम को घंटों लग गए। घर में चल-अचल संपत्ति और तमाम दस्तावेजों को खंगालने के बाद जांच टीम ने साइंटिस्ट के फार्म हाउस को भी जांच के दायरे में लिया है। एक टीम फार्म हाउस भी भेजी गई है।
रामपुर बाघेलान क्षेत्र में पदस्थ है बहू
साइंटिस्ट की बहू ज्योति मिश्रा पटवारी है और वह पिछले 6 वर्षों से रामपुर बाघेलान क्षेत्र में पदस्थ हैं। ज्योति के नाम भी कई संपत्तियों की जानकारी मिली है। एसपी ने बताया कि उन संपत्तियों की जांच भी की जाएगी।जिस वक्त EOW की टीम साइंटिस्ट सुशील कुमार के घर पहुंची, वहां उसकी पत्नी और बड़ा बेटा ज्ञानेंद्र मिश्रा नहीं थे। वे दोनों भोपाल में हैं, जबकि छोटा बेटा अनिल मिश्रा और बहू ज्योति मिश्रा घर पर ही थे। बहू ज्योति मिश्रा पटवारी है। संभावना जताई जा रही है कि जांच की आंच पटवारी बहू पर भी पड़ सकती है।
साइंटिस्ट की बहू ज्योति मिश्रा पटवारी है और वह पिछले 6 वर्षों से रामपुर बाघेलान क्षेत्र में पदस्थ हैं। ज्योति के नाम भी कई संपत्तियों की जानकारी मिली है। एसपी ने बताया कि उन संपत्तियों की जांच भी की जाएगी।जिस वक्त EOW की टीम साइंटिस्ट सुशील कुमार के घर पहुंची, वहां उसकी पत्नी और बड़ा बेटा ज्ञानेंद्र मिश्रा नहीं थे। वे दोनों भोपाल में हैं, जबकि छोटा बेटा अनिल मिश्रा और बहू ज्योति मिश्रा घर पर ही थे। बहू ज्योति मिश्रा पटवारी है। संभावना जताई जा रही है कि जांच की आंच पटवारी बहू पर भी पड़ सकती है।
कुछ वर्षों में तेजी से बढ़ी संपत्ति
बताया जाता है कि प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के क्षेत्रीय कार्यालय सतना में बतौर कनिष्ठ वैज्ञानिक पदस्थ सुशील कुमार खुटहा के पास ग्राम गोरसरी के मूल निवासी है। पिछले कुछ वर्षों में इनकी संपत्ति तेज रफ्तार से बढ़ी। मिश्रा के कारनामों की शिकायत कई बार भोपाल तक भी पहुंची, लेकिन ऐसा कहा जाता है कि पैसों और जुगाड़ के दम पर हर बार वह बचते रहे।
रीवा की टीम ने कार्रवाई
EOW रीवा की टीम ने सुशील कुमार मिश्रा के मारुति नगर स्थित घर पर दबिश दी। इंस्पेक्टर मोहित सक्सेना और प्रवीण चतुर्वेदी के नेतृत्व में 25 सदस्यीय टीम के वहां पहुंचते ही हड़कंप मच गया। टीम ने घर के अंदर-बाहर लोगों का आना-जाना रोक दिया और जांच शुरू कर दी।साइंटिस्ट के पास स्मार्ट सिटी से लगे 7 एकड़ के फार्म हाउस के अलावा कई अन्य अचल संपत्तियों के दस्तावेज, बीमा के कागजात और बैंक खाते मिले हैं। उसके पास कई दोपहिया और चार पहिया वाहन भी पाए गए हैं।
अन्य अधिकारियों में हड़कंप
साइंटिस्ट के घर छापामारी ने प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के अन्य अधिकारियों- कर्मचारियों में भी हड़कंप मचा दिया है। सूत्रों की मानें तो बोर्ड में पिछले काफी समय से सिर्फ और सिर्फ सेटिंग का खेल चल रहा है। प्रदूषण जांच न करने, एनओसी देने जैसे कामों के एवज में नियम कायदे नहीं बल्कि सिर्फ रुपयों की तूती बोलती है। कई अधिकारी तो ऐसे हैं जिन्होंने बिना अनुमति-एनओसी के क्रशर तक अपने दम पर चलवा रखे हैं। खबर है कि इस छापेमारी के बाद अन्य लोग भी अपने घरों से बैग-दस्तावेज हटाने लगे हैं।
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