सुराना में फोर्स के साथ पहुंचे अफसर, गृह मंत्री बोले- किसी में हिम्मत नहीं कि वो गांव को कैराना बना दे
रतलाम/भोपाल। रतलाम जिले में हिंदुओं के गांव छोड़कर जाने की चेतावनी से सरकार में हड़कंप मच गया। एसपी-कलेक्टर बुधवार सुबह भारी फोर्स के साथ सुराना गांव पहुंच गए। यहां दोनों धर्म के लोगों से बात की। अफसरों ने चौपाल में कहा कि गांव में पुलिस चौकी बनेगी। जिन लोगों पर तीन अपराध दर्ज हैं, उन्हें जिलाबदर किया जाएगा। एक महीने में सभी अवैध कब्जे तोड़े जाएंगे। इधर, गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि मध्यप्रदेश शांति का टापू है, यहां कोई भी भय का वातावरण नहीं बना सकता है। मिश्रा ने कहा कि सुराना को कैराना बनाने वाले लोग मध्यप्रदेश में हैं, तो वे जान लें कि यहां भाजपा की सरकार है। किसी में हिम्मत नहीं है कि वह सुराना को कैराना बना दे। कलेक्टर-एसपी तत्काल मौके पर पहुंच गए थे। अस्थाई पुलिस चौकी बना दी गई है। गांव में अतिक्रमण की छोटी-छोटी समस्याएं है, जिसका प्रशासन दोनों समुदाय के लोगों को साथ लेकर समाधान करेंगे। इस पूरे मामले का पटाक्षेप हो चुका है।
ग्रामीणों ने दी थी गांव छोड़ने की चेतावनी
सुराना गांव के हिंदुओं ने मुस्लिमों की प्रताड़ना से तंग आकर मंगलवार को कलेक्ट्रेट जाकर गांव छोड़ने की चेतावनी दी थी। बुधवार सुबह कलेक्टर कुमार पुरुषोत्तम और एसपी गौरव तिवारी सहित प्रशासनिक अमला गांव पहुंचा। गांव में लगी चौपाल में हिंदुओं का गुस्सा पुलिस प्रशासन पर दिखा। सभी ने एक स्वर में पुलिस कार्रवाई नहीं होने से परेशानी बढ़ने की बात कही। कलेक्टर ने सभी से चर्चा के बाद कहा कि गुंडा कोई भी हो, कितना भी मजबूत दिखाता हो, उसे बख्शा नहीं जाएगा। सुराना के हिंदुओं ने कहा था कि प्रशासन मुस्लिमों से बचाए, वरना तीन दिन में गांव छोड़ देंगे।
सौहार्द बिगाड़ने वाले की संपत्ति जब्त होगी, जिलाबदर की कार्रवाई भी
एसपी-कलेक्टर ने दोनों समुदाय के लोगों के बीच बैठक की। गांव में शांति बनाए रखने के लिए पांच बिंदु तय किए गए। तय हुआ कि गांव में अस्थायी पुलिस चौकी बनेगी। तीन से ज्यादा केस वाले लोगों को जिलाबदर किया जाएगा। एक महीने के अंदर सभी अवैध कब्जे हटाए जाएंगे। सौहार्द बिगाड़ने वालों पर कार्रवाई होगी, संपत्ति जब्त करने से लेकर जिलाबदर तक की कार्रवाई होगी। गांव में एक कमेटी बनेगी। कमेटी में दोनों समुदाय से दो-दो लोग और ग्रामीण एसडीएम कृतिका भी शामिल रहेंगी।
एसपी-कलेक्टर ने दोनों समुदाय के लोगों के बीच बैठक की। गांव में शांति बनाए रखने के लिए पांच बिंदु तय किए गए। तय हुआ कि गांव में अस्थायी पुलिस चौकी बनेगी। तीन से ज्यादा केस वाले लोगों को जिलाबदर किया जाएगा। एक महीने के अंदर सभी अवैध कब्जे हटाए जाएंगे। सौहार्द बिगाड़ने वालों पर कार्रवाई होगी, संपत्ति जब्त करने से लेकर जिलाबदर तक की कार्रवाई होगी। गांव में एक कमेटी बनेगी। कमेटी में दोनों समुदाय से दो-दो लोग और ग्रामीण एसडीएम कृतिका भी शामिल रहेंगी।
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