रूक नहीं रहा दाम बढऩे का दौर, मंहगाई से टूटी आम आदमी की कमर
उमरिया। पेट्रोल और डीजल की कीमतों मे पिछले कई महीनों से मानो आग सी लगी हुई है। दोनों ही ईंधन के दाम सातवें आसमान पर पहुंचने के बावजूद अभी भी इनमे बढ़ोत्तरी का दौर जारी है। लेकिन क्या आपने कभी गौर किया है कि आखिरकार एक लीटर पेट्रोल या डीजल की कीमत मे केन्द्र और राज्य सरकार आपसे कितना टेक्स वसूल रही हैं। दरअसल पेट्रोलियम पदार्थ सरकार की बड़ी आय का सबसे आसान जरिया बन चुका है। बीते कुछ वर्षो मे पेट्रोल और डीजल पर कभी एक्साईज और वेट बढ़ाया गया तो कभी सेस और अतिरिक्त वेट लगाया गया। इसी का नतीजा है कि आज आम उपभोक्ता से करीब 32 रूपये के पेट्रोल पर 67 रूपये और लगभग 32 रूपये के ही डीजल पर 56 रूपये के आसपास टेक्स वसूला जा रहा है। यह टेक्स मूल कीमत का 70 प्रतिशत के आसपास बैठता है।
22 दिन मे 3 रूपये का इजाफा
पेट्रोल और डीजल के दामो मे वृद्धि का दौर थमने का नाम नहीं ले रहा है। पिछले 22 दिनो मे पेट्रोलियम के दामो मे कई बार इजाफा हुआ है। कल जिला मुख्यालय मे पेट्रोल 97.92 और डीजल 88.35 रूपये प्रति लीटर रहा। जबकि 23 जनवरी को पेट्रोल का भाव 94.90 तथा डीजल 85.60 था।
मध्यम वर्ग की जेब पर सीधा हमला
ईधन की बढ़ती कीमतों ने हर आमोखास के लिये नई मुसीबत पैदा कर दी है। विशेषकर मंहगे घरेलू गैस, पेट्रोल और डीजल ने मध्यम वर्ग की जेब पर सीधा हमला किया है। जानकारों का मानना है इस मूल्यवृद्धि ने हर परिवार पर तकरीबन 5000 रूपये का बोझ डाल दिया है। जबकि आवक पहले से भी कम हो गई है।
जिले मे ईधन की कुल खपत
पेट्रोलियम विपणन से जुड़े सूत्रों के मुताबिक जिले मे प्रतिदिन लगभग 82 हजार लीटर डीजल और पेट्रोल की खपत होती है। जिसमे पेट्रोल 30 हजार एवं डीजल 52 हजार लीटर शामिल है। यह मात्रा औसत है जो सीजन के हिसाब से बढ़ती और घटती रहती है।