समझौते से दूर होता तनाव और अशांति

समझौते से दूर होता तनाव और अशांति
नेशनल लोक अदालत मे आपसी सहमति से सैकड़ों प्रकरणों का निराकरण
उमरिया। आपसी सहमति से विवादों को समाप्त करना समझदारी का काम है। इससे न सिर्फ तनाव और अशांति से छुटकारा मिलता है, बल्कि पक्षकारों के अमूल्य समय और धन की भी बचत होती है। उक्त आशय के उद्गार प्रथम जिला न्यायाधीश श्री सनत कुमार कश्यप ने नेशनल लोक अदालत के शुभारंभ अवसर पर व्यक्त किये। उन्होने कहा कि राजीनामे से प्रकरणों के निराकरण मे नेशनल लोक अदालत की मुख्य भूमिका है। लोक अदालत मे किसी की हार या जीत नही होती। कई परिवार आपसी मन मुटाव भूल कर खुशी-खुशी अपना जीवन यापन शुरू करने के संकल्प के सांथ यहां से निकलते हैं। न्याय सबके लिये और न्याय आपके द्वार की संकल्पना को साकार करने राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण नई दिल्ली के तत्वाधान मे कल 11 सितंबर को जिले मे नेशनल लोक अदालत का आयोजन किया गया। जिला न्यायालय मे लोक अदालत का शुभारंभ राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के तैलचित्र पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्जवलन कर किया गया। प्रथम जिला न्यायाधीश श्री सनत कुमार कश्यप, कलेक्टर संजीव श्रीवास्तव, प्रथम जिला जज आरएस कन्नौजिया, द्वितीय जिला जज अशरफ अली, सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण राजेश तिवारी, मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट रामप्रकाश अहिरवार, न्यायाधीश खालिदा तनवीर, न्यायाधीश राजन गुप्ता, जिला न्यायालय अधिवक्ता संघ के अध्यक्ष पुष्पराज सिंह, जिला विधिक सहायता अधिकारी बीडी दीक्षित, खण्डपीठ के सदस्य, अधिवक्ता, पक्षकारगण तथा न्यायालयीन कर्मचारी उपस्थित थे।
स्थापित हुई 10 खण्डपीठ
जिला न्यायालय उमरिया, तहसील न्यायालय पाली एवं मानपुर मे नेशनल लोक अदालत का आयोजन कोविड की गाईड लाईन के अनुरूप किया गया। प्रथम जिला न्यायाधीश एवं अध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकरण सनत कुमार कश्यप के मार्गदर्शन मे कुल 10 खण्डपीठों ने कार्य किया। जिसमे एक खण्डपीठ लोकोपयोगी सेवाओं के लिये स्थापित की गई थी।
1.19 करोड़ का अवार्ड पारित
लोक अदालत मे कुल रैफर्ड 1780 मे से 406 प्रकरणो का निपटारा आपसी सुलह-समझौतों से हुआ। जिसमे प्रीलिटिगेशन प्रकरण 235 एवं बैंक, बीएसएनएन, नगर पालिका, विद्युत तथा न्यायालय मे लंबित 842 मे से 171 मामलों का निराकरण हुआ। इनमे 1 करोड़ 19 लाख 983 रूपये का अवार्ड पारित किया गया। मोटरयान दुर्घटना क्षतिपूर्ति दावा प्रकरणो के 27 प्रकरणो मे 31 लाख रूपये, चेक बाऊंस के 26 प्रकरणो मे 36 लाख 76 हजार 276 रूपये, विद्युत प्रकरणो के 68 प्रकरणो मे 3 लाख 90 हजार 831 रूपये तथा बैंक रिकवरी के105 प्रकरणो को निराकृत कर उनमे 41 लाख 24 हजार 698 रूपये का अवार्ड पारित किया गया। जबकि जलकर के 33 प्रकरण निपटे, जिसमे 97 हजार 240 रूपये की राशि प्राप्त हुई। प्रीलिटिगेशन के प्रकरणो के निराकरण मे कुल 235 व्यक्ति लाभान्वित वहीं कुटुंब न्यायालय के प्रकरणो का निराकरण राजीनामा के आधार पर हुआ।
फिर एक हुआ बिछड़ा परिवार
नेशनल अदालत के दौरान कुटुंब न्यायालय मे धारा 125 के तहत लंबित प्रकरण पति के भरण पोषण एवं देखभाल की हामी भरने पर आवेदिका द्वारा वापस लिया गया। इन दोनो ने अदालत को भविष्य मे सौहार्दपूर्ण जीवन जीने का आश्वासन दिया। जानकारी के अनुसार प्रथम जिला न्यायाधीश सनत कुमार कश्यप के विशेष प्रयासों से इस बार 10 जुलाई 2021 को आयोजित नेशनल लोक अदालन की तुलना मे 4 गुना अधिक प्रकरणो का निराकरण हुआ। अंत मे पक्षकारों को स्मृति चिन्ह स्वरूप फलदार और औषधीय पौधे वितरित किये गये।

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