शुभेन्दु अधिकारी को बैठक मे बुलाने पर भड़कीं, बंगाल के लिए मांगे 20 हजार करोड़
नई दिल्ली/कोलकाता । यास साइक्लोन से प्रभावित इलाकों का एरियल सर्वे करने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शुक्रवार को ओडिशा और पश्चिम बंगाल पहुंचे। पश्चिम बंगाल में चुनाव के वक्त से शुरू हुई केंद्र और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की तनातनी का नजारा देखने को मिला। तूफान से हुए नुकसान का जायजा लेने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पश्चिम बंगाल पहुंचे तो ममता उनकी रिव्यू मीटिंग में समय से नहीं पहुंची। सूत्रों के अनुसार, ममता और चीफ सेक्रेटरी एक ही परिसर में होने के बावजूद बैठक के लिए 30 मिनट की देरी से पहुंचे। फिर पीएम के साथ 15 मिनट तक बैठक कर ममता ने उन्हें अपना मांग पत्र सौपा और वहां से चली गईं। वे मीटिंग में शुभेंदु अधिकारी को बुलाए जाने से नाराज थीं। पीएम द्वारा तूफान से तबाही का जायजा लेने के बाद केंद्र सरकार ने 1 हजार करोड़ रुपए के राहत पैकेज का ऐलान किया है। इसमें से 500 करोड़ ओडिशा को और 500 करोड़ बंगाल व झारखंड को दिए जाएंगे।
मोदी और ममता के बीच 15 मिनट मुलाकात
इस दौरान ममता ने पीएम मोदी से मुलाकात कर तूफान से हुए नुकसान की प्राइमरी रिपोर्ट सौंपी। दोनों नेताओं के बीच करीब 15 मिनट बात हुई। यह मुलाकात पश्चिमी मेदिनीपुर जिले में कलाईकुंडा में हुई। अधिकारियों ने बताया कि मुख्यमंत्री ने मोदी को राज्य की स्थिति और तूफान से सबसे ज्यादा प्रभावित इलाकों के बारे में जानकारी दी। ममता खुद भी शनिवार को प्रभावित इलाकों का हवाई सर्वे करेंगी। बाद में ममता ने कहा कि पीएम ने मीटिंग बुलाई थी। हमें नहीं पता था कि दीघा में मेरी मुलाकात थी। मैं कलाईकुंडा गई और प्रधानमंत्री को रिपोर्ट दी। साथ ही दीघा और सुंदरबन के विकास के लिए 10 और 20 हजार करोड़ रुपए की मांग की। मैंने उनसे कहा कि राज्य के अधिकारी मुझसे मिलना चाहते हैं। मैंने उनकी अनुमति ली और चली आई।
एक हजार करोड़ का राहत पैकेज
केंद्र्र सरकार ने प्रभावित लोगों के लिए एक हजार करोड़ रुपए के राहत पैकेज का ऐलान किया है। इनमें तुरंत राहत के लिए 500 करोड़ ओडिशा को और 500 करोड़ रुपए बंगाल-झारखंड को दिए जाएंगे। यह रकम नुकसान के आधार पर दी जाएगी। प्रधानमंत्री ने तीनों राज्यों को भरोसा दिया कि केंद्र सरकार इस मुश्किल वक्त में हर संभव मदद करेगी। केंद्र प्रभावित राज्यों में नुकसान का जायजा लेने के लिए एक इंटर मिनिस्ट्रियल टीम भेजेगा। साथ ही तूफान से तबाह हुए बुनियादी ढांचे को दोबारा तैयार करने में भी मदद करेगा। प्रधानमंत्री मोदी ने ओडिशा सरकार की ओर से तूफान से निपटने के लिए की गई तैयारियों की तारीफ की, जिससे कम से कम जानमाल का नुकसान हुआ है। हालांकि, उन्होंने बंगाल का जिक्र नहीं किया।
राहत पर राजनीति हावी
सूत्रों के मुताबिक, पीएम के दौरे के समय ममता का व्यवहार केंद्र को रास नहीं आया है। इस पर सरकार की ओर से कोई बयान तो सामने नहीं आया है, लेकिन अंदरखाने पूरे घटनाक्रम को ओछी राजनीति के तौर पर देखा जा रहा है। सूत्रों का कहना है कि समुद्री तूफान ने पूरे ओडिशा और पश्चिम बंगाल को प्रभावित किया है। इसलिए जरूरी है कि सभी जनप्रतिनिधि मिलकर लोगों तक तेज और प्रभावी मदद पहुंचाएं।
केंद्र ने किया वित्तीय मदद का ऐलान
पीएम मोदी ने समीक्षा बैठक कर बचाव कार्यों संबंधी किए जा रहे सभी प्रयासों के बारे जानकारी भी ली। साथ ही ओडिशा, बंगाल और झारखंड को आश्वस्त किया कि उन्हें सभी जरूरी मदद दी जाएगी। केंद्र की ओर से यास से हुई तबाही के आंकलन के लिए एक अंतर-मंत्रालय टीम बनाई जाएगी। इसके अलावा केंद्र की तरफ यास तूफान में जान गंवाने वालों के परिजनों के लिए 2 लाख और गंभीर रूप से घायलों के लिए 50 हजार रुपए की आर्थिक मदद की घोषणा की भी गई है।