दिग्विजय सिंह सहित वरिष्ठ नेताओं ने आदिवासी परिवार के समर्थन में दी गिरफ्तारियां
भोपाल। बीते छह माह पूर्व नेमावर में आदिवासी परिवार के 5 सदस्यों की जघन्य हत्या कर जमीन में गाड़ने के मामले को लेकर आदिवासी वर्ग हमलावर है। परिवार की इकलौती बच्ची भारती कास्टे ने सिर पर कफन बांधकर और आदिवासी समाज के लोगों ने मामले की राज्य सरकार से न्याय की गुहार लगाते हुये सीबीआई जांच और दोषियों को फांसी की सजा की मांग को लेकर नेमावर से भोपाल तक न्याय यात्रा निकालते हुए आज भोपाल स्थित विधायक रवि जोशी के निवास पर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ, दिग्विजयसिंह, पूर्व मंत्री सज्जन वर्मा, पूर्व मंत्री पी.सी. शर्मा सहित वरिष्ठ नेताओं से मुलाकात की।
न्याय यात्रा में शामिल परिवार की बच्ची भारती कास्टे और यात्रा में शामिल आदिवासी वर्ग के प्रतिनिधि से मुलाकात कर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने हर संभव मदद किये जाने का आश्वासन दिया। इसके बाद पीड़ित परिवार के सदस्य भारती न्याय यात्रा लेकर आगे बढ़ना चाहती थी। लेकिन मध्य प्रदेश सरकार ने अपना आदिवासी विरोधी चेहरा दिखाते हुए यात्रा को आगे नहीं बढ़ने दिया और पुलिस ने बलपूर्वक यात्रा को रोक लिया। आदिवासी बच्ची और कांग्रेस के विभिन्न नेता यात्रा करने की मांग पर अड़े रहे। जिसके बाद पुलिस ने पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजयसिंह, पूर्व मंत्री सज्जन वर्मा, पूर्व मंत्री पी.सी. शर्मा, विक्रांत भूरिया सहित अन्य लोगों को गिरफ्तार कर लिया। इसके बाद दिग्विजय सिंह, पूर्व मंत्री सज्जन वर्मा, पूर्व मंत्री पी.सी. शर्मा के नेतृत्व में राजभवन पहुंचकर राज्यपाल को ज्ञापन देने का प्रयास किया। लेकिन महामहिम राज्यपाल महोदय ने नेमावर के पीड़ित परिवार की सदस्य और कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं को मिलने का समय नहीं दिया। अंत में कांग्रेस नेताओं ने राज्यपाल को दिया जाने वाला ज्ञापन राज भवन की दीवार पर चस्पा दिया। काग्रेस नेताओं ने दृढ़ता पूर्वक कहा है कि जब तक नेमावर के आदिवासी परिवार को न्याय नहीं मिल जाता यह संघर्ष जारी रहेगा। कांग्रेस पार्टी पीड़ित परिवार को हर संभव सहायता देगी। इस घटना से स्पष्ट हो गया है कि शिवराज सिंह चौहान सरकार आदिवासी हित का सिर्फ नाटक कर सकती है, जबकि जमीन पर वह आदिवासी उत्पीड़न में लगी हुई है।
नेमावर हत्याकांड : आदिवासी वर्ग के प्रतिनिधि से मिले कमलनाथ
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