हेल्थ इंडेक्स में नीचे से तीसरे नंबर पर मप्र, कोरोना की पहली लहर में केरल की हेल्थ परफॉर्मेंस सबसे अच्छी रही, उत्तर प्रदेश की सबसे खराब
नई दिल्ली/भोपाल। शिवराज सरकार के स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार के दावों को नीति आयोग ने आईना दिखाया है। आयोग ने हेल्थ इंडेक्स 2019-20 जारी किया है। इसमें मध्यप्रदेश नीचे से तीसरे नंबर पर है। 19 बड़े राज्यों में 17वां नंबर प्रदेश का है। उसके बाद सिर्फ बिहार और यूपी के नाम हैं। यह बता रहा है कि स्वास्थ्य सेवाओं में हमारी स्थिति यूपी-बिहार से मामूली सी बेहतर है। सबसे अच्छी स्थिति केरल की है। दूसरे नंबर पर तमिलनाडु और तेलंगाना का नाम है। 2014-15 तक राजस्थान और ओडिशा भी मध्यप्रदेश से स्वास्थ्य सेवाओं में कमजोर माने जाते थे, लेकिन वे मप्र को पीछे छोड़ आगे निकल गए हैं। जारी रिपोर्ट के अनुसार सबसे नीचे के तीन नामों मप्र, बिहार और यूपी है।
नीति आयोग ने चौथा हेल्थ इंडेक्स जारी किया है। इसके मुताबिक, बड़े राज्यों में स्वास्थ्य सुविधाओं के मामले में केरल टॉप पर है, जबकि उत्तर प्रदेश अंतिम पायदान पर है। यह लगातार चौथी बार है जब केरल ओवरऑल परफॉर्मेंस के मामले में बेस्ट परफॉर्मर है। वहीं, यूपी ने 2018-19 की तुलना में स्वास्थ्य सुविधाओं में सुधार (इंक्रीमेंटल परफॉर्मेंस) के मामले में टॉप किया है। सरकार के थिंक टैंक की ओर से जारी रिपोर्ट के मुताबिक, हेल्थ परफॉर्मेंस को लेकर तमिलनाडु का दूसरा और तेलंगाना का तीसरा स्थान है। हालांकि, इंक्रीमेंटल परफॉर्मेंस के मामले में केरल का 12वां स्थान है जबकि तमिलनाडु 8वें पायदान पर है। तेलंगाना इंक्रीमेंटल परफॉर्मेंस के मामले में भी तीसरे स्थान पर है।खराब परफॉर्मेंस के मामले में बिहार का दूसरा स्थान चौथे राउंड के हेल्थ इंडेक्स के लिए साल 2019-20 का आकलन किया गया है। यह वह दौर था जब देश कोरोना की पहली लहर का सामना कर रहा था। खराब परफॉर्मेंस के मामले में बिहार का दूसरा और मध्यप्रदेश का तीसरा स्थान है। वहीं, राजस्थान का दोनों ही मामलों में सबसे खराब प्रदर्शन है।
छोटे राज्यों में ओवरऑल परफॉर्मेंस में मिजोरम टॉप पर
रिपोर्ट के मुताबिक, छोटे राज्यों में ओवरऑल परफॉर्मेंस और इंक्रीमेंटल परफॉर्मेंस के मामले में मिजोरम टॉप पर है। त्रिपुरा ने भी दोनों मामलों में बेहतर प्रदर्शन किया है। वहीं, केंद्र प्रशासित प्रदेशों में ओवरऑल परफॉर्मेंस के मामले में दिल्ली और जम्मू-कश्मीर की निचली रैंक है लेकिन इंक्रीमेंटल परफॉर्मेंस को लेकर ये लीडिंग परफॉर्मर हैं। हेल्थ इंडेक्स को तैयार करने के लिए 24 पहलुओं को ध्यान में रखा गया है। यह इंडेक्स मुख्य रूप से तीन भागों में बांटा जा सकता है- हेल्थ आउटकम, गवर्नेंस एंड इंफॉरमेशन और इनपुट्स एंड प्रॉसेस। विश्व बैंक की तकनीकी सहायता और स्वास्थ्य व परिवार कल्याण मंत्रालय के सहयोग से यह रिपोर्ट तैयार की गई है।
नीति आयोग ने शिवराज सरकार को दिखाया आईना
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