अदालत मे गैंगवार

कोर्ट रूम मे मोस्ट वान्डेट जितेंद्र गोगी की हत्या, वकील की ड्रेस मे आए थे दो शूटर
नई दिल्ली।  दिल्ली के रोहिणी कोर्ट परिसर में शुक्रवार को गैंगवार हुआ। बदमाशों ने दिल्ली के मोस्ट वॉन्टेड गैंगस्टर जितेंद्र गोगी (30) की गोली मारकर हत्या कर दी। इस गैंगवार में गोगी समेत कुल 3 लोग मारे गए। फायरिंग में 3 से 4 लोग घायल भी हुए। रिपोर्ट के मुताबिक गोगी पेशी के लिए कोर्ट में आया था, जहां वकील की यूनिफॉर्म में पहले से मौजूद 2 शूटरों ने उस पर फायरिंग की। दिल्ली पुलिस कमिश्नर राकेश अस्थाना ने बताया कि जब गैंगस्टर गोगी को कोर्ट में सुनवाई के लिए ले जाया गया तो दो अपराधियों ने उस पर गोलियां चलाईं। पुलिस ने जवाबी कार्रवाई में दोनों हमलावरों को मार गिराया। उनमें से एक हमलावर पर 50,000 रुपए का इनाम था।
गोगी को तीन गोलियां लगीं, अस्पताल में हुई मौत
वकील ललित कुमार ने बताया कि हमलावर वकील की ड्रेस में आए थे। उन्होंने गोगी को लगातार 3 गोलियां मारीं। गोगी की सुरक्षा में जो दिल्ली पुलिस के लोग थे उन्होंने 25-30 गोलियां चलाईं। इससे अपराधियों की घटनास्थल पर ही मौत हो गई। गोगी की मौत अस्पताल में हुई।ललित कुमार ने यह भी बताया कि घटना गोगी के मामले की सुनवाई के दौरान हुई। जज, स्टाफ और वकील भी मौजूद थे। सुनने में आया है कि हमारी एक इंटर्न के पैर में भी गोली लगी है। घटना आज लगभग एक-डेढ़ बजे की है। सुबह ठीक से चेकिंग नहीं हो पाती है। बहुत बड़ी लापरवाही है।
महिला वकील भी घायल
जितेंद्र उर्फ गोगी पिछले दो साल से तिहाड़ जेल में बंद था। शुक्रवार को उसे पेशी के लिए लाया गया था। इसी दौरान रोहिणी कोर्ट परिसर में पहले से घात लगाए बैठे दो शूटर ने उस पर हमला कर दिया। कोर्ट परिसर में हुई फायरिंग के बाद इलाके को सील कर दिया गया है। इस दौरान मची भगदड़ में एक महिला वकील भी घायल हुई है।

2 साल पहले पकड़ा गया था जितेन्द्र
जितेंद्र को 2020 में स्पेशल सेल ने गुरुग्राम से गिरफ्तार किया था। गोगी के साथ कुलदीप फज्जा को भी पकड़ा गया था। कुलदीप फज्जा बाद में 25 मार्च को कस्टडी से फरार हो गया था। फज्जा जीटीबी अस्पताल से फरार हुआ था। बाद में वह पुलिस एनकाउंटर में मारा गया था। दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल के मुताबिक, जितेंद्र गोगी ने अपराध के जरिए करोड़ों की संपत्ति बनाई है। उसके नेटवर्क में 50 से ज्यादा लोग थे।

हरियाणा की लोक गायिका हर्षिता दहिया की भी हत्या गोगी ने की थी
गोगी को अप्रैल में दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने महाराष्ट्र संगठित अपराध नियंत्रण कानून (मकोका) के तहत गिरफ्तार किया था। फरवरी 2017 में उसने अलीपुर के देवेंद्र प्रधान की हत्या कर दी थी, क्योंकि प्रधान का बेटा उसके सहयोगी निरंजन की हत्या में शामिल था। अक्टूबर 2017 में गोगी ने हरियाणवी सिंगर और डांसर हर्षिता दहिया की पानीपत में हत्या कर दी थी।हर्षिता दहिया अपने जीजा दिनेश कराला के खिलाफ दर्ज हत्या के एक मामले में मुख्य गवाह थी। दिनेश कराला ने ही हर्षिता दहिया की सुपारी गोगी को दी थी। वहीं, गोगी के गैंग ने नवंबर में स्कूल के बाहर एक टीचर दीपक की और जनवरी 2021 में प्रशांत विहार में रवि भारद्वाज नाम के व्यक्ति की हत्या कर दी थी। रवि को 25 गोलियां मारी गई थीं। जून 2018 में बुराड़ी में टिल्लू गैंग से हुई गैंगवार में 4 लोग मारे गए और 5 जख्मी हुए। नरेला में अक्टूबर 2019 में आम आदमी पार्टी के नेता वीरेंद्र मान उर्फ कालू को 26 गोलियां मार मौत के घाट उतार दिया गया। इस साल 19 फरवरी को रोहिणी के कंझावला में आंचल उर्फ पवन की 50 राउंड फायरिंग कर हत्या की गई। इन मामलों में भी गोगी गैंग का ही नाम सामने आया था।

सुप्रीम कोर्ट की व्यवस्था अपनाते तो न होती ये घटना
सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ वकील अश्विनी कुमार दुबे ने बताया कि सर्वोच्च अदालत परिसर में प्रवेश करने से पहले हर वकील को चेङ्क्षकग से होकर गुजरना पड़ता है। वह कितना भी बड़ा वकील क्यों न हो, सभी को सुरक्षा व्यवस्था से गुजरना अनिवार्य है। वकीलों के पास आने वाले लोगों को भी वकील के द्वारा पास बनाकर दिए जाने के बाद पास की जांच करने के बाद ही लोगों को अदालत परिसर में प्रवेश दिया जाता है। ऐसे में सुरक्षा में चूक होने की कोई संभावना नहीं बचती और सुरक्षा बनी रहती है। अश्विनी कुमार दुबे ने कहा कि यदि निचली अदालतों में भी इसी तरह की व्यवस्था अपनाई जाए तो जितेंद्र गोगी हत्याकांड जैसी घटनाओं को टाला जा सकता था। हालांकि, रोहिणी कोर्ट के वकीलों ने इसे कमजोर सुरक्षा का परिणाम बताया है।

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