विपक्षी नारेबाजी के बीच वित्तमंत्री जगदीश देवड़ा ने पेश किया वर्ष 2022-23 का बजट
भोपाल । विपक्ष के हंगामे में बीच बुधवार को प्रदेश के वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा ने वर्ष 2022-23 का बजट पेश किया। कांग्रेस विधायक आसंदी के सामने जाकर लगातार नारेबाजी करते रहे। कांग्रेस का कहना था कि प्रदेश में एक साल में साढ़े पांच लाख लोग बेरोजगार हो गए। बिजली के बिल के नाम पर सरकार लोगों को जेल में डालने का काम कर रहे हैं। किसान भी परेशान हैं। वहीं मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने विपक्ष से अपील कर कहा-बजट भाषण हो जाने दीजिए। प्रदेश की जनता सुनना चाहती है। ऐसा नहीं होगा तो कांग्रेस की छवि खराब होगी। बजट के बाद जितना विरोध करना है कर लेना। गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि विपक्ष को यह भी नहीं बता कि बजट का विरोध कब करना चाहिए। जब वित्तमंत्री ने भाषण शुरू किया तो विपक्ष के विधायक हंगामा करते हुए वेल में पहुंच गए। वित्त मत्री ने अपने बजट भाषण में कई योजनाओं की बात कही। उन्होंने कहा कि अटल प्रगतिपथ का काम शुरू हो चुका है। मुख्यमंत्री राशन आपके द्वार योजना लागू। गायों की सेवा के लिए नई योजना शुरू होगी। जैविक कृषि क्षेत्र का विस्तार किया जाएगा। सागर, शाजापुर, उज्जैन में सोलर उर्जा प्लांट लगेंगे।वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा ने अपने बजट में सुशासन और विकास को महत्व देते हुए कहा है कि विकास मंजिल नहीं, बल्कि निरंतर चलने वाली यात्रा है। सुशासन वह माध्यम है जिससे विकास को सही गति व दिशा प्राप्त होती है। सभी वर्गों का ध्यान रखने के साथ सरकार ने प्रदेश के शासकीय सेवकों एवं पेंशनरों को सातवें वेतनमान का लाभ दिया है। आगामी वर्ष में वेतन से संबंधित भत्तों के पुनरीक्षण पर विचार किया जाएगा। महिला आर्थिक वित्त विकास निगम को सुदृढ़ किया जाएगा। इस बजट में महिलाओं के लिए रोजगारमूलक आर्थिक सहायता की एक नवीन योजना प्रस्तावित है।
मनरेगा का बजट 75 फीसदी बढ़ाया
मनरेगा का बजट अनुमान वर्ष 2021-22 की तुलना में लगभग 75 प्रतिशत बढ़ाकर 3500 करोड़ प्रस्तावित है। मनरेगा में अंतर्गत इस वर्ष 26 करोड़ 64 लाख मानव दिवस सृजित किये गये हैं। मनरेगा से प्रति परिवार औसत रोजगार लगभग 55 दिवस रहा है। वहीं वन समितियों को काष्ठ से होने वाली आय का 20 प्रतिशत उपलब्ध कराये जाने का भी निर्णय लिया गया है।
हवाई सेवाओं को बढ़ावा
प्रदेश में एवियेशन टर्बाइन द्ब्रयूल पर वैट की दर को अधिकतम 25 प्रतिशत के स्तर से घटाकर 4 प्रतिशत किया गया है, जिससे वायु सेवा के विस्तार में मदद मिलेगी। प्रदेश के इन्दौर विमानतल को कस्टम नोटिफाईड एयरपोर्ट घोषित किया गया है। प्रदेश के विभिन्न शहरों से दिल्ली, मुंबई, अहमदाबाद, बैंगलौर, कोलकाता, जम्मू तथा हैदराबाद मार्गों पर हवाई सेवायें संचालित हो रही हैं। अन्य स्थानों को भी वायु सेवा से जोडऩे हेतु प्रयास किये जा रहे हैं। प्रदेश के औद्योगिक क्षेत्र सिंगरौली में नवीन हवाई पट्टी के निर्माण का कार्य प्रगति पर है। पायलट प्रशिक्षण एवं उड्डयन गतिविधियों हेतु निजी संस्थाओं को 11 हवाई पट्टियां निर्धारित वार्षिक शुल्क पर आंवटित की गई है।
17 क्लस्टर होंगे विकसित
प्रदेश में रोजगार के अवसरों को बढ़ाने क लिए सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उपक्रम विभाग के अंतर्गत 17 क्लस्टर विकसित किये जा रहे हैं, जिससे रोजगार के लगभग 41 हजार नये अवसर सृजित किये जाएंगे। प्रदेश में निवेश को आकर्षित करने के लिए एथेनॉल एवं जैव ईंधन इकाईयों को प्रोत्साहन एवं वित्तीय सहायता प्रदान किये जाने हेतु एथेनॉल एवं जैव ईधन प्रोत्साहन योजना शुरू की जाएगी। सिंगरौली में माईनिंग विधा का इंजीनियरिंग कॉलेज प्रारंभ किया जाना प्रस्तावित है।
रोजगार के अवसर उपलब्ध कराये
इस वर्ष विभिन्न स्वरोजगार योजनाओं में 28 लाख 63 हजार 779 व्यक्तियों को 14 हजार 556 करोड़ का ऋण उपलब्ध कराकर रोजगार के अवसर उपलब्ध कराये गये हैं। रोजगार के अवसर में वृद्धि के लिए हमारी सरकार ने मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना प्रारंभ की है।
ग्रामीण स्व सहायता समूहों के लिए योजना
ग्रामीण स्वयं सहायता समूहों के लिये योजनाओं को वृहद् स्वरुप में क्रियान्वित करने के लिए 1100 करोड़ का बजट में प्रावधान किया गया है। जो कि वर्ष 2021-22 के बजट अनुमान से लगभग 141 प्रतिशत अधिक है। ग्रामीण एवं नगरीय क्षेत्रों में केश शिल्पी, बढ़ई, लोहार, चर्मकार, माटी कलाकार आदि का कौशल उन्नयन होने पर उनकी आजीविका की सुरक्षा एवं आय में वृद्धि के लिए से बजट में मुख्यमंत्री कारीगर कौशल उन्नयन योजना प्रस्तावित है।
लघु उद्योगों और कौशल उन्नयन योजना से रोजगार
सरकार ने इस वर्ष के बजट में रोजगार बढ़ाने के लिए कई तरह के योजनाएं शुरू की है। इन सब के जरिए जहां प्रदेश में रोजगार बढ़ेगा वहीं लोगों की आय में भी इजाफा होगा। सिंगरौली में माईनिंग इंजीनियरिंग कॉलेज बनाया जाएगा। वहीं ग्रामीण स्व सहायता समूहों के लिए 1100 करोड़ का बजट में प्रावधान किया गया है। वित्तीय वर्ष 2022-23 में लगभग 13 हजार शिक्षकों की नियुक्तियों की कार्यवाही की जाना लक्षित है। निजी संस्थाओं में रोजगार एवं स्वरोजगार के बड़ी संख्या में अतिरिक्त अवसर निर्मित हो रहे हैं।
केंद्र के बराबर मिलेगा प्रदेश के कर्मचारियों को डीए
जानकारी के अनुसार सेंट्रल गर्वमेंट के कर्मचारियों को 31 प्रतिशत डीए मिलता था, वहीं स्टेट गर्वमेंट के कर्मचारियों को 11 प्रतिशत डीए मिलता था, इस बार सरकार ने केंद्र के बराबर ही प्रदेश के कर्मचारियों को भी डीए देने की घोषणा की है, जिसका लाभ प्रदेश के करीब साढ़े सात लाख कर्मचारियों को मिलेगा।
पुरानी पेंशन से पहले डीए की सौगात
आपको बतादें कि राजस्थान सरकार द्वारा पुरानी पेंशन योजना लागू करने के बाद छत्तीसगढ़ सरकान ने भी पुरानी पेंशन योजना लागू कर दी है, कर्मचारियों को उम्मीद थी कि शायद बजट में एमपी में भी पुरानी पेंशन योजना लागू कर दी जाएगी, लेकिन प्रदेश के कर्मचारियों को डीए बढ़ाकर खुश कर दिया है। ऐसे में कर्मचारियों का वेतन पहले से करीब 20 प्रतिशत अधिक आएगा। ऐसे में कर्मचारियों में खुशी तो है। लेकिन उनकी पुरानी पेंशन की मांग बरकरार है, क्योंकि उनका कहना है बुढ़ापे में क्या होगा, इसलिए पुरानी पेंशन जरूरी है।
बजट में भोपाल को मिला
बजट में राजधानी भोपाल में दो नए औद्योगिक क्षेत्र विकसित करने का ऐलान किया गया है। डीजल, वाहनों से बढ़ते प्रदूषण को रोकने के लिए राजधानी में इलेक्ट्रिक व्हीकल चार्जिंग स्टेशन बनाए जाएंगे। बरखेडा नाथू में अंतर्राष्ट्रीय स्तर का स्पोर्टस कॉम्पलेक्स और साइंस सेंटर बनाया जाएगा। फिल्म शूटिंग के लिए राजधानी ताजमहल में कंपनियों को अवसर दिए जाएंगे। अल्पसंख्यक वर्ग के लिए अच्छा काम करने वालों को पुरूस्कार दिए जाएंगे। भोपाल में ग्लोबल आइटी पार्क बनेगा। भोपाल इंदौर, ग्वालियर, जबलपुर उज्जैन में स्टार्टअप इक्यूबेशन सेंटर की स्थापना गई है। भोपाल इंदौर में मेट्रो का काम चल रहा है। दूसरे शहरों में पब्लिक ट्रांसपेार्ट की सुविधाएं डेवलप की जा रहीं हैं। भोपाल इंदौर जबलपुर में पीपीपी मॉडल पर 217 ईवी चार्जिंग स्टेशन बनेंगे। दीनदयाल रसोई केन्द्रों का विस्तार किया जाएगा। जिला एक उत्पाद योजना आगर मालवा में आलू, बूरहानपुर में केला, श्योपुर में अमरूद को बढावा देने के लिए काम किया जा रहा है। प्रायवेट सेक्टर में रोजगार के अवसर बन रहे हैं।
बजट में इंदौर को क्या
वित्तमंत्री जगदीश देवड़ा ने इंदौर से करीब 30 किमी दूर मोहना में नया औद्योगिक क्षेत्र बनाने की घोषणा की है। यह इंदौर में पीथमपुर और सांवेर रोड इंडस्ट्रियल एरिया के बाद तीसरे नंबर का औद्योगिक क्षेत्र बनाया जाएगा। मध्यप्रदेश औद्योगिक विकास निगम इंदौर ने देपालपुर तहसील के मोहना गांव में नया औद्योगिक क्षेत्र बनाया है। इस नए औद्योगिक क्षेत्र की योजना बनाते वक्त एमपीआईडीसी बनाम मध्यप्रदेश औद्योगिक विकास निगम इंदौर ने तय किया था कि यहां ऐसे उद्योगों को स्थापित करना है जो लगभग 5000 लोगों को रोजगार देने के लिए 1000 करोड़ रुपए का निवेश कर सकें। जनवरी 2022 तक यहां 800 करोड़ रुपए का निवेश करने वाली कम्पनियों ने जमीनें खरीद ली हैं। बाकी 200 करोड़ रुपए का निवेश करने वाली कम्पनियां और आ रही हैं। बची हुई बाकी जमीन खरीदने के लिए कम्पनियों के आवेदन एमपीआईडीसी के पास आ चुके हैं।
जबलपुर को क्या मिला
भोपाल-इंदौर से विकास के मायने में पिछड़ चुके संस्कारधानी में भी दोनों शहरों के साथ ई-चार्जिंग स्टेशन खुलेंगे। यहां ई-वाहन चार्ज होंगे। साथ ही मेडिकल और नर्सिंग की सीटें बढ़ाई जाएगी। इससे जबलपुर मेडिकल कॉलेज और अन्य नर्सिंग कॉलेजों में सीटें बढऩे का अनुमान है। हेल्थ सेक्टर में जॉब की काफी संभावनाएं हैं। नर्मदा प्रगति पथ का कार्य भी शुरू होगा। ये अमरकंटक से प्रदेश के आखिरी छोर तक बनेगा। नर्मदा एक्सप्रेस-वे के लिए केंद्र सरकार ने 241 करोड़ की राशि पहले ही आवंटित कर चुकी है। जमीन अधिग्रहण के साथ राज्य सरकार को अपना अंश प्रस्तावित नर्मदा एक्सप्रेस-वे में देना है। अमरकंटक से जबलपुर के मध्य नेशनल हाई-वे 45 के खण्ड शाहपुरा से डिण्डोरी तक के 61 किलोमीटर मार्ग के अपग्रेडेशन से नार्थ-साउथ कॉरिडोर ग्वालियर-झांसी-सागर-नागपुर और वाराणसी-रीवा-नागपुर नेशनल हाई-वे आपस में जुड़ सकेंगे। इसका आर्थिक, सामाजिक, पुरातात्विक और पर्यटन का लाभ प्रदेश को मिलेगा।
-सड़क निर्माण के लिए 108 करोड़ का प्रावधान।
-बिजली सब्सिडी के लिए 2500 करोड़ का प्रावधान।
-फसलों को जीआई टैग दिलाने की कोशिश।
-4 हजार किलोमीटर सड़क निर्माण का लक्ष्य।
-मुख्यमंत्री राशन आपके द्वार योजना लागू।
-अटल प्र्रगति पथ का काम शुरू।
-गायों की सेवा के लिए नई योजना।
-सागर, शाजापुर, उज्जैन में सोलर उर्जा प्लांट।
-2 लाख 79 हजार 237 करोड़ का कुल बजट।
-55 हजार 511 करोड़ का अनुमानित राजकोषीय घाटा।
-सकल घरेलू उत्पाद का 4.56 फीसदी अनुमानित।
-कोई नया कर नहीं लगाया है।
-आदिवासी क्षेत्रों में कम्प्युटर प्रशिक्षण।
-आईटी पार्क का निर्माण होगा।
-उद्योगों को रियायत दरों पर जमीन।
-उज्जैन में मेडिकल डिवाइस पार्क को मंजूरी।
-मनरेगा के 3500 करोड़ रुपए की स्वीकृति।
-नशा मुक्ति के लिए अभियान चलाया जाएगा।
-तेंदूपत्ता संग्राहकों के लिए लाभांश राशि बढ़ाई।
-छात्रों की स्कॉलरशिप के लिए विशेष प्रावधान।
-प्रदेश में 1300 टीचर की नियुक्ति की जाएगी।
-प्रदेश में घर-घर पशु चिकित्सा सेवा शुरू होगी।
-मुख्यमंत्री मत्स्य पालन योजना के लिए 50 करोड़।
-स्वास्थ के लिए 13 हजार 642 करोड़ का प्रावधान।
-एमपी में नए 22 मेडिकल कॉलेज।
-उर्जा के लिए 23 हजार 255 करोड़ का प्रावधान।
-11 नए औद्योगिक क्षेत्र विकसित होंगे।
-11 हजार से अधिक रोजगार के अवसर।
-उद्यानिकी फसलों के लिए एक लाख मैट्रिक टन भंडारण
-अजा वित्त विकास निगम के लिए 40 करोड़ का प्रावधान ।
-ओबीसी के लिए पिछड़ा वर्ग वित्त विकास निगम के लिए 50 करोड़ का प्रावधान।
सीएम शिवराज ने दी वित्तमंत्री को बधाई
सीएम शिवराज सिंह चौहान ने कहा, आत्मनिर्भर भारत बनाने के लिए मध्य प्रदेश अपना पूरा योगदान दे रहा है, राज्य सकल घरेलू उत्पाद 19.74 प्रतिशत पहुंच गया है। देश में आज अर्थव्यवस्था की दृष्टि से हम प्रगति कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि मैं वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा को बधाई देता हूं। मध्य प्रदेश आज सकल घरेलू उत्पाद 11 लाख 79 हजार 4 करोड़ हो गया है। बजट में सभी क्षेत्र का ध्यान रखा है। अधोसंरचना पर मध्य प्रदेश 50 प्रतिशत बजट खर्च करेगा। मैं मानता हूं कि सरकार आम जन पर कोई नया टैक्स नहीं लगाएगी। सरकार चाइल्ड बजट भी ला रही है।
हंगामेदार रहा बजट
बजट शुरू होने से पहले ही विपक्ष ने जोरदार हंगामा किया। हो-हल्ले में वित्त मंत्री की आवाज दब गई। वो अपना भाषण पढ़ते गए और विपक्ष हंगामा करता रहा। पूर्व मंत्री सज्जन वर्मा बजट स्पीच के बीच-बीच में बोलते रहे। कांग्रेस विधायकों ने आसंदी तक के सामने जाकर नारेबाजी की। कांग्रेस का कहना था- एक साल में साढ़े पांच लाख बेरोजगार हो गए। कैसा बजट है ये। बिजली बिल पर जेल में डालने का काम कर रहे हैं। किसान परेशान हैं। ष्टरू शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि बजट भाषण हो जाने दें। जनता सुनना चाहती है। ऐसा नहीं होगा तो कांग्रेस की छवि खराब होगी। बजट के बाद जितना विरोध करना हो कर लें।
सदस्यों ने हेडफोन उतारकर कॉपी में देखा बजट
कांग्रेस के हंगामे के बीच मंत्री और विधायक भी बजट भाषण सुन नहीं पाए। सदस्यों ने हेडफोन उतार दिए। बजट भाषण की कॉपी देखी। यहां तक कि वित्त मंत्री के ठीक पीछे बैठे बिसाहूलाल को भी उनकी आवाज नहीं सुनाई पड़ी। वह बजट कॉपी देखते रहे। कांग्रेस विधायकों के हंगामे के बीच नेता प्रतिपक्ष कमलनाथ सीट पर बैठे रहे। उन्होंने एक दिन पहले ही कहा था कि सदन की गरिमा बनी रहनी चाहिए।
सज्जन के आरोपों पर क्या बोले गोपाल भार्गव और नरोत्तम मिश्र
सज्जन सिंह वर्मा ने सदन में कहा कि सरकार किसान और मजदूर विरोधी है। पहले पिछले बजट का हिसाब दो। हम नहीं चाहते कि वित्तमंत्रीजी की तबीयत खराब हो। जगदीशजी आपका बीपी बढ़ जाएगा। तीन हजार करोड़ के कर्ज से प्रदेश को डुबो दिया है। इस पर पीडब्ल्यूडी मंत्री गोपाल भार्गव ने कहा कि सज्जन भाई, आपको बोलने का पूरा समय मिलेगा। उसमें चर्चा कर लेंगे। संसदीय कार्यमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने भी कहा कि इनको सलीका ही नहीं है, बातें सुनने का।
जनता को गुमराह और फिर से धोखा देने वाला बजट:कमलनाथ
मध्यप्रदेश सरकार ने 2022-23 का बजट विधानसभा में बुधवार को पेश किया। पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने बजट पर प्रतिक्रिया देते हुए उसे जनता को गुमराह करने वाला और फिर से धोखा देने वाला बताया। कमलनाथ ने कहा कि बजट में कागजी आकड़े और प्रावधान बनाना बहुत सरल है। इसका क्रियान्वयन कितना हुआ। उन्होंने सरकार से सवाल करते हुए पूछा कि यह बता सकते है कि कितने नवजवानों को रोजगार मिलेगा, आज छात्रावासों की क्या स्थिति है, आज फीस देने, बिजली बिल के क्या हालात है। इन सब बातों का बजट में कोई जिक्र नहीं है। आज मध्यप्रदेश का हर वर्ग परेशान है। सरकार के इस बजट से और परेशान होगा। पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछले साल की तुलना में हर बजट का सरकार को हिसाब देना होता है। कृषि क्षेत्र में क्या उपलब्धियां है। यह बजट फिर से एक झूठ और फरेब का पुलंदा है। बजट में बताया गया कि यह प्रावधान किया है। पिछले साल भी प्रावधान किया था। उस प्रावधान का कितना उपयोग हुआ, कितनी बेरोजगारी घटी, आज क्यों खाद्य और बीज के दाम बढ़े। यह जनता को गुमराह करने का और जनता को फिर से धोखा देने का बजट है। अगले साल के बजट में साफ हो जाएगा कि कितना बढ़ा धोखा हमारे प्रदेश के हर वर्ग को दिया है।