घरेलू सिलेण्डर 25 रूपये मंहगा
पेट्रोल-डीजल के बाद अब कुकिंग गैस की कीमतों मे हुआ इजाफा
उमरिया। पेट्रोलियम कम्पनियों ने एक बार फिर आम आदमी को झटका देते हुए जुलाई की 1 तारीख से घरेलू गैस के दामो मे 25 रूपये 50 पैसे का इजाफा कर दिया है। जिसके बाद जिले मे सिलेण्डर का दाम बढ़ कर 857 रूपये 50 पैसे हो गया है। इससे पहले तक उपभोक्ताओं को प्रति सिलेण्डर 832 रूपये चुकाने पड़ते थे। यह पहला मौका नहीं है जब घरेलू गैस के दाम बढ़ाये गये हों, इस साल सिर्फ 6 महीनो मे ही घरेलू गैस की कीमतों मे करीब 140 रूपये की बढ़ोत्तरी हुई है। यह वह समय था, जब लोग कोरोना की महामारी से जूझ रहे थे और उनकी पूरी अर्थव्यवस्था चरमराई हुई थी। मतलब जनता जिस समय बीमारी से खुद को बचाने मे लगी हुई थी, उस समय सरकार की कम्पनियां पीछे ने उनके जेबों को नोचने मे जुटी हुई थी।
कैसे पूरा हो घर का खर्च
रोजमर्रा की चीजों मे हो रही बेहताशा वृद्धि और सरकार द्वारा पग-पग पर ली जा रही टेक्स ने आम आदमी का जीना दुश्वार कर दिया है। अगर बात करें तो सिर्फ पेट्रोल, डीजल, गैस और किराने के बढ़े दामो ने एक औसत आय और कम सदस्यों वाले परिवार पर कम से कम 5 से 8 हजार रूपये का खर्च बढ़ा दिया है। जबकि नौकरीपेशा को छोड़ कर बाकी लोगों की आय पहले से आधी रह गई है। इन परिस्थितियों मे कई परिवारों के सामने घर और बाहर का खर्च चलाना मुश्किल हो रहा है।
नेताओं की कलाबाजी से हैरान जनता
गौरतलब है कि आज देश पर शासन चला रहे लोग विपक्ष मे रहने के दौरान पेट्रोल, डीजल और गैस की कीमतों को लेकर तत्कालीन यूपीए गवर्नमेंट पर बार-बार तंज कसते और प्रदर्शन करते थे। कहना न होगा कि इन्ही मुद्दों पर सत्ता परिवर्तन हुआ और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की सरकार बनी। जिसने दाम घटाने की बजाय पहले तो गैस की सब्सिडी खत्म की, फिर धीरे-धीरे दाम बढ़ाने शुरू कर दिये। आज हालत यह है कि मनमोहन सरकार मे करीब 400 मे मिलने वाला सिलेण्डर आज 857 रूपये का हो गया है। नेताओं की इस कलाबाजी से जनता भी हैरान है।
5 रूपये 5 पैसे आ रही सब्सिडी
सिलेण्डर की सब्सिडी खत्म करने और दाम बढ़ाने की कथा भी बेहद दिलचस्प है। जनता की नाराजगी और विपक्ष के हमलों से बचने के लिये सरकारी कम्पनियों ने चलाकी से मई 2020 मे अचानक गैस सिलेण्डर के दाम 170 रूपये घटा दिये। इसी के सांथ लोगों को मिलने वाली 191 रूपये सब्सिडी भी पूरी तरह खत्म कर दी गई। इससे जनता पर मात्र 21 रूपये का भार पड़ा। फिर जून से सिलेण्डर के दाम बढऩे शुरू हुए और सब्सिडी भी चालू हई पर केवल 6 रूपये 54 पैसे। 2 दिसंबर और 15 दिसंबर 20 को सिलेण्डर के दाम 50-50 रूपये बढ़ा दिये गये। इस तरह सिलेण्डर कीमत फिर बढ़ कर 717 रूपये हो गई। नये साल मे कीमतें 140 रूपये और बढ़ीं। वर्तमान मे उपभोक्ताओं को 5 रूपये 5 पैसे सब्सिडी दी जा रही है।